परिचय वज्रासन एक विशेष योग मुद्रा है, जिसे "थंडरबोल्ट पोज" या "डायमंड पोज" भी कहा जाता है। यह एकमात्र ऐसा आसन है जिसे भोजन करने के तुरंत बाद भी किया जा सकता है। वज्रासन पाचन तंत्र को मजबूत करता है और मानसिक शांति प्रदान करता है। इस आसन का नियमित अभ्यास शरीर को मजबूती और संतुलन प्रदान करता है। विधि 1️⃣ समतल स्थान पर योग मैट बिछाकर घुटनों के बल बैठ जाएं। 2️⃣ दोनों पैरों को पीछे की ओर रखते हुए पंजों को मिलाएं और एड़ियों को बाहर रखें। 3️⃣ धीरे-धीरे नितंबों को एड़ियों पर टिकाएं और जांघों को पिंडली पर रखें। 4️⃣ रीढ़ को सीधा रखें और हाथों को घुटनों पर ज्ञान मुद्रा में रखें। 5️⃣ आंखें बंद करें और गहरी सांस लें। 6️⃣ इस मुद्रा में 5-15 मिनट तक बैठें, धीरे-धीरे समय बढ़ा सकते हैं। 7️⃣ अंत में धीरे-धीरे पैरों को खोलें और सामान्य स्थिति में आ जाएं। लाभ ✅ पाचन तंत्र को मजबूत करता है और अपच, कब्ज जैसी समस्याओं से राहत दिलाता है। ✅ घुटनों, जांघों और पीठ की मांसपेशियों को लचीला और मजबूत बनाता है। ✅ रक्त संचार में सुधार करता है और मानसिक एकाग्रता बढ़ाता है। ✅ तनाव, चिंता और मानसिक अस्थिरता को कम करता है। ✅ यह ध्यान और प्राणायाम के लिए अत्यधिक उपयोगी आसन है। सावधानियां और निषेध 🚫 जिन्हें घुटनों या टखनों में गंभीर दर्द या चोट हो, वे यह आसन न करें। 🚫 रीढ़ या हर्निया की समस्या वाले व्यक्ति इस आसन से बचें। 🚫 अत्यधिक मोटापा होने पर इस आसन को करने में परेशानी हो सकती है, इसलिए सावधानीपूर्वक करें। 🚫 यदि किसी को रक्त संचार संबंधी समस्या है, तो पहले चिकित्सक से परामर्श लें। निष्कर्ष वज्रासन एक सरल और प्रभावी योगासन है, जो पाचन तंत्र को बेहतर बनाने और मानसिक शांति को बढ़ाने में सहायक है। इसे नियमित रूप से करने से शरीर मजबूत होता है और ध्यान व एकाग्रता में सुधार आता है। सही विधि और सावधानियों का पालन कर कोई भी इस आसन के अधिकतम लाभ प्राप्त कर सकता है।