उत्थित त्रिकोणासन (Utthita Trikonasana) - Extended Triangle Pose परिचय उत्थित त्रिकोणासन, जिसे अंग्रेजी में Extended Triangle Pose कहा जाता है, एक प्रभावी योगासन है जो पूरे शरीर को मजबूत और लचीला बनाने में मदद करता है। संस्कृत में उत्थित का अर्थ होता है विस्तारित, त्रिकोण का मतलब होता है त्रिभुज। यह आसन पैरों, रीढ़, कूल्हों और कंधों के लचीलेपन को बढ़ाने के साथ-साथ संतुलन सुधारने में मदद करता है। विधि 1️⃣ सबसे पहले ताड़ासन में खड़े हों और दोनों पैरों को लगभग 3-4 फीट की दूरी पर फैलाएं। 2️⃣ दाहिने पैर को 90° बाहर की ओर और बाएं पैर को हल्का अंदर की ओर मोड़ें। 3️⃣ दोनों हाथों को कंधों के समानांतर सीधा फैलाएं। 4️⃣ सांस छोड़ते हुए धीरे-धीरे शरीर को दाईं ओर झुकाएं और दाहिने हाथ को नीचे लाकर टखने, पिंडली या फर्श पर रखें। 5️⃣ बायां हाथ ऊपर की ओर सीधा उठाएं और गर्दन को घुमाकर ऊपर की ओर देखें। 6️⃣ इस स्थिति में 20-30 सेकंड तक रहें और गहरी सांस लें। 7️⃣ सांस लेते हुए धीरे-धीरे प्रारंभिक स्थिति में लौटें और फिर दूसरे पैर से दोहराएं। लाभ ✅ रीढ़, कूल्हों और पैरों का लचीलापन बढ़ाता है। ✅ जांघ, घुटने और टखनों को मजबूत बनाता है। ✅ पाचन तंत्र को सक्रिय करता है और कब्ज की समस्या को दूर करता है। ✅ मानसिक शांति प्रदान करता है और ध्यान केंद्रित करने में मदद करता है। ✅ पीठ दर्द को कम करता है और शरीर के संतुलन को सुधारता है। सावधानियां और निषेध 🚫 गर्दन, कूल्हे या घुटने में चोट हो तो यह आसन न करें। 🚫 उच्च रक्तचाप या चक्कर आने की समस्या होने पर सावधानी बरतें। 🚫 संतुलन बनाए रखने में कठिनाई हो तो दीवार या योग ब्लॉक का सहारा लें। 🚫 शरीर को जबरदस्ती अधिक खींचने से बचें, जिससे चोट लगने की संभावना न हो। 🚫 गर्भवती महिलाओं को यह आसन किसी विशेषज्ञ की देखरेख में ही करना चाहिए। निष्कर्ष उत्थित त्रिकोणासन (Utthita Trikonasana) पूरे शरीर को सशक्त और लचीला बनाने वाला एक महत्वपूर्ण योगासन है। यह संतुलन, एकाग्रता और शरीर के आंतरिक अंगों के कार्य को बेहतर बनाता है। इस आसन को करते समय सही तकनीक और सावधानियों का पालन करना आवश्यक है ताकि अधिकतम लाभ मिल सके और किसी भी प्रकार की चोट से बचा जा सके।