विपरीतकरणि (Viparita Karani) - Legs Up the Wall Pose परिचय विपरीतकरणि, जिसे अंग्रेजी में Legs Up the Wall Pose कहा जाता है, एक शारीरिक और मानसिक शांति प्रदान करने वाला योग आसन है। यह विशेष रूप से शरीर के निचले हिस्से को विश्राम देने और रक्त परिसंचरण को सुधारने के लिए किया जाता है। इस आसन को करने से न केवल शारीरिक थकान कम होती है, बल्कि यह मानसिक शांति और तनाव को भी कम करने में मदद करता है। विधि 1️⃣ सबसे पहले एक दीवार के पास बैठें और दोनों पैरों को दीवार के पास रखें। 2️⃣ अब धीरे-धीरे अपनी पीठ को ज़मीन पर लिटा लें और अपने पैरों को दीवार पर चढ़ा लें। 3️⃣ आपके पैर पूरी तरह से दीवार से जुड़े होने चाहिए और शरीर को आरामदायक स्थिति में रखना चाहिए। 4️⃣ दोनों हाथों को शरीर के किनारे रखें या उन्हें पेट पर रखें। 5️⃣ इस स्थिति में 10-15 मिनट तक बने रहें और गहरी सांस लें। 6️⃣ जब आप समाप्त करें तो धीरे-धीरे पैर नीचे लाकर आरामदायक स्थिति में लौट आएं। लाभ ✅ रक्त परिसंचरण को बेहतर बनाता है और पैरों में सूजन को कम करता है। ✅ मानसिक तनाव और चिंता को कम करने में मदद करता है। ✅ पीठ और गर्दन के तनाव को दूर करता है। ✅ सिरदर्द और नींद की समस्याओं को कम करता है। ✅ पाचन क्रिया को बेहतर बनाता है और शारीरिक ऊर्जा को बढ़ाता है। सावधानियां और निषेध 🚫 यदि आपको किसी प्रकार का कंधा, पीठ या गर्दन में दर्द हो, तो यह आसन न करें। 🚫 गर्भवती महिलाएं इस आसन को न करें। 🚫 यदि आपके पास हृदय रोग या उच्च रक्तचाप जैसी समस्याएं हैं, तो पहले अपने चिकित्सक से परामर्श करें। 🚫 इस आसन को अत्यधिक नहीं करना चाहिए, खासकर अगर आप इसका सही तरीका नहीं जानते। निष्कर्ष विपरीतकरणि (Viparita Karani) एक सरल और प्रभावी योग आसन है जो शरीर और मन को शांति प्रदान करता है। यह आसन विशेष रूप से रक्त परिसंचरण को सुधारने और मानसिक तनाव को कम करने में मदद करता है। इसे नियमित रूप से करना शरीर के लिए लाभकारी है, लेकिन सावधानी और सही विधि से इसे करना आवश्यक है ताकि अधिकतम लाभ प्राप्त किया जा सके और किसी भी प्रकार की चोट से बचा जा सके।