अनन्तासन (Anantasana) - Sleeping Vishnu Pose परिचय अनन्तासन एक विशेष योग मुद्रा है, जिसे अंग्रेजी में Sleeping Vishnu Pose कहा जाता है। यह आसन शरीर को संतुलित करने, रीढ़ को लचीला बनाने और मांसपेशियों को मजबूत करने में सहायक होता है। यह मुद्रा भगवान विष्णु की विश्राम मुद्रा से प्रेरित है और शारीरिक तथा मानसिक शांति प्रदान करती है। अनन्तासन का नियमित अभ्यास शरीर में लचीलापन लाता है और तंत्रिका तंत्र को सशक्त बनाता है। विधि 1️⃣ योग मैट पर सीधे लेट जाएं और शरीर को आराम दें। 2️⃣ दाहिने ओर करवट लें और सिर को दाहिने हाथ की हथेली पर टिकाएं। 3️⃣ बाएं पैर को ऊपर उठाएं और बाएं हाथ से पैर के अंगूठे को पकड़ें। 4️⃣ संतुलन बनाए रखते हुए कुछ देर इसी मुद्रा में रहें। 5️⃣ गहरी सांस लेते हुए शरीर को आराम दें और स्थिरता बनाए रखें। 6️⃣ 20-30 सेकंड तक इस स्थिति में रहें, फिर धीरे-धीरे सामान्य अवस्था में लौटें। 7️⃣ अब दूसरी तरफ करवट लेकर इस प्रक्रिया को दोहराएं। लाभ ✅ शरीर के संतुलन और लचीलेपन में सुधार करता है। ✅ पैरों, कूल्हों और रीढ़ की हड्डी को मजबूत करता है। ✅ पाचन तंत्र को सक्रिय करता है और गैस व कब्ज की समस्या को दूर करता है। ✅ मन को शांत करता है और तनाव को कम करता है। ✅ तंत्रिका तंत्र को मजबूत बनाता है और रक्त संचार को बेहतर करता है। सावधानियां और निषेध 🚫 जिन्हें रीढ़, कंधे या कमर में दर्द हो, वे यह आसन न करें। 🚫 संतुलन बनाने में कठिनाई हो तो प्रशिक्षक की सहायता लें। 🚫 घुटने या जांघ की चोट वाले व्यक्ति इस आसन को करने से बचें। 🚫 गर्भवती महिलाओं को यह आसन करने से पहले डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए। निष्कर्ष अनन्तासन (Sleeping Vishnu Pose) शरीर की लचीलापन और संतुलन बढ़ाने के लिए एक प्रभावी योगासन है। यह आसन मांसपेशियों को मजबूत करता है और मानसिक शांति प्रदान करता है। नियमित अभ्यास और सही तकनीक से इस आसन के अधिकतम लाभ प्राप्त किए जा सकते हैं।